Uttarakhand धारचूला में आपदा प्रभावितों से मिले सीएम धामी, पीड़ित परिवारों को मुआवजे के चेक प्रदान किये
Dharchula, Pithoragarh : धारचूला पहुंचे उत्तराखंड के मुख्यमंत्री ने आपदा ग्रस्त क्षेत्रों के साथ ही जुम्मा गांव का हवाई सर्वेक्षण किया, जिसके बाद मुख्यमंत्री पुष्कर धामी एसएसबी केंप में जुम्मा के जामुनी तोक के आपदा प्रभावित ग्रामीणों से मिले व शोक संवेदना व्यक्त की। पीड़ित परिवारों को राहत राशि चार – चार लाख रुपए का चेक मृतक के परिजनों को दिए , साथ ही मुख्यमंत्री ने 1- 1 लाख रुपए की धनराशि देने की घोषणा की ।
इस दौरान आपदा प्रभावितों ने मुख्यमंत्री को अपनी पीड़ा बताई और उनसे मदद मांगी। मुख्यमंत्री धामी ने आपदा प्रभावितों को हर संभव सहायता का भरोसा दिलाया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने जुम्मा की घटना पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि सरकार आपदा प्रभावितों को राहत पहुंचाने के साथ ही क्षेत्र में बंद पड़ी सभी सड़कों को जल्द से जल्द खोलने के लिए प्रयासरत है। उन्होंने का कहा कि सरकार की पहली प्राथमिकता आपदा प्रभावितों तक खाद्यान्न और दवाई पहुंचाने की है। साथ ही उन्होंने कहा कि क्षेत्र में कनेक्टविटी बेहतर करने के लिए केंद्र सरकार के साथ मिलकर कार्य किया जाएगा। इस दौरान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के साथ क्षेत्रीय सांसद अजय टम्टा भी मौजूद रहे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 1 लाख रुपये की अतिरिक्त धनराशि प्रति मृतक मुख्यमंत्री आर्थिक सहायता कोष से परिवार को सहायता के रूप में उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने आपदा पीड़ितों को आस्वस्त कराया कि सरकार इस दुःख की घड़ी में उनके साथ खड़ी है। उनकी हर संभव मदद की जाएगी। इसके उपरांत मुख्यमंत्री पर्यटक आवास गृह धारचूला पंहुचकर स्थानीय लोगों से मिले और उनकी समस्याएं भी सुनी। इससे पूर्व जुम्मा में आपदा की घटना में मृतक व्यक्तियों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए उनकी आत्मा की शान्ति के लिए 2 मिनट का मौन रखा गया। इसके उपरांत उन्होंने धारचूला नगर के नो गांव(तरकोट),मल्ली बाजार के आपदा पीड़ित परिवार से मुलाकात कर उन्हें हर सम्भव मदद करने की बात करते हुए जिलाधिकारी को आवश्यक निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि क्षेत्र का भू गर्भीय परीक्षण कराते हुए सुरक्षा के कार्य कराए जाएंगे। इस दौरान उन्होंने क्षेत्रीय जनता की समस्याएं भी सुनी। उन्होंने बरम के गोगोई में भू कटाव को रोके जाने हेतु सुरक्षा दिवार का निर्माण करने की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि दुःख की घड़ी में सरकार प्रभावितों के साथ खड़ी है । हर सम्भव मदद की जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी एक माह हेतु क्षेत्र में हैलीसेवा को बढ़ा दिया गया है। आवश्यकता पड़ने पर इसे आगे भी बढ़ाया जाएगा। उन्होंने कहा कि पिथौरागढ़ से हवाई सेवा सुचारू किए जाने हेतु भी प्रयास जारी है। उन्होंने कहा कि धारचूला काली नदी किनारे तटबन्ध निर्माण हेतु सिंचाई विभाग द्वारा तैयार 42 करोड़ की धनराशि के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान हेतु शासन से कार्यवाही की जाएगी। अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि क्षेत्र में आपदा से बंद क्षतिग्रस्त सड़कों को शीघ्रता से खोलना हमारी प्राथमिकता है । उन्होंने कहा कि क्षेत्र में तीन माह हेतु खाद्यान्न की आपूर्ति की जा चुकी है, जहां खाद्यान्न की कमी होगी उन क्षेत्रों में हैलीकॉप्टर से खाद्यान्न पंहुचाया जाएगा। उन्होंने कहा कि क्षेत्र में चिकित्सकों की तैनाती की जाएगी। उन्होंने आपदा के दौरान प्रशासन द्वारा किए गए त्वरित कार्य हेतु जिलाधिकारी एवं उनकी समस्त टीम की सराहना करते हुए कहा कि आपदा विभाग 24 घंटे कार्य कर रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी अधिकारी कार्यों को सरलीकरण करते हुए उनका समाधान कर त्वरित निस्तारण करना सुनिश्चित करें ताकि निचले स्तर की समस्याओं के निस्तारण हेतु लोगों को तहसील, जिला एवं राज्य स्तर तक न आना पड़े। उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों का भू गर्भीय परीक्षण कर सुरक्षा एवं पुनर्वास की व्यवस्था की जाएगी। अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि धारचूला के ग्वाल गांव में सुरक्षा के कार्य किए जाएंगे। व्यास खोतिला के भू कटाव की सुरक्षा हेतु धनराशि दी जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार जो भी घोषणा कर रही है उसे धरातल पर अवश्य ही साकार कर रही है। इस दौरान क्षेत्रीय सांसद अजय टमटा ने कहा कि सरकार इस दुःख की घड़ी में आपदा प्रभावितों के साथ है। उनकी हर संभव मदद की जाएगी।
रिपोर्ट – सुरेन्द्र कुमार गुप्ता, कुमाऊं ब्यूरो प्रमुख
स्थान – धारचूला
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